तेजस ने अपने पहला सफर मुंबई से गोवा के बीच में तय किया था। एलसीडी स्क्रीन्स से लेकर वेंडिंग मशीन तक, इस ट्रैन में हर तरीके की आधुनिक सुविधाएं प्राप्त करवाई गई थी। इसके बाद मुंबई-अहमदाबाद के बीच चलने वाली शताब्दी एक्सप्रेस में भी एलसीडी स्क्रीन की सुविधा यात्रियों को दी गई थी।
पर अब, रेल मंत्रालय तेजस और शताब्दी ट्रेनों में एलसीडी स्क्रीन की सुविधा को बंद करने जा रहा है। यह निर्णय इसलिए लिया गया है क्योंकि यात्री इनमें मिल रही सुविधाओं का दुरुपयोग कर रहे हैं। यहां तक कि सीटों के पीछे लगाई गई एलसीडी स्क्रीन को भी नुकसान पहुंचाया है। इसके अलावा तार और स्विच बोर्ड को भी नुकसान पहुंचा रहे थे। रेलवे बोर्ड के सूचना निदेशक वेद प्रकाश ने कहा कि यात्रियों द्वारा बार-बार ऐसा करने से रेलवे को काफी नुकसान हो रहा है।
रेलवे इस बात पर विचार कर रहा है, कि ट्रेन में एलसीडी स्क्रीन की कोई खास जरूरत नहीं, लोग वैसे भी सफर के दौरान अपना फोन और लैपटॉप लेकर चलते हैं। तेजस एक्सप्रेस भारत की सबसे आधुनिक ट्रेनों में से एक है। ट्रेन में ऑटोमेटिक डोर, जीपीएस, फायर स्मोक डिटेकशन सिस्टम, सीसीटीवी इत्यादी जैसी चीजे हैं।